Friday, May 2, 2025

        जिले के आंगनबाड़ी केंद्रों में आज से वजन त्यौहार होगा शुरू

        Must read

          एमसीबी/12 सितंबर 2024। जिले में 12 सितंबर से 23 सितंबर तक वजन त्यौहार चलेगा। जिले के सभी आंगनबाड़ी केंद्रों में वजन त्यौहार में 0 से 6 वर्ष से कम उम्र के बच्चों का वजन कर कम वजन वाले बच्चों को चिन्हित कर कुपोषण की वास्तविक स्थिति का पता लगाया जाएगा।

          उनके कुपोषण स्तर की का जांच की जाएगी। इसके साथ ही बच्चों को आंगनबाड़ी केंद्रों में पूरक पोषण आहार वितरण करने के साथ ही पोषक तत्वों के बारे में जानकारी दी जाएगी। उक्त कार्यक्रम के आयोजन के संबंध में जिले के समस्त आंगनबाड़ी केन्द्रों में आयोजन करने जिला कार्यक्रम अधिकारी महिला एवं बाल विकास शुभम बंसल ने बताया कि राष्ट्रीय पोषण माह 2024 की गतिविधियों के आयोजन पोषण, स्वास्थ्य, साफ सफाई, टीकाकरण के बारे भी लोगों को जागरूक करने पर बल दिया जायेगा। वही किशोरी बालिका और गर्भवती महिला का वजन व ऊंचाई लेने को कहा गया। इस दौरान जन-जन को कुपोषण के प्रति जागरूक करने के साथ-साथ प्रत्येक परिवार को उनके बच्चों को सही पोषण के संबंध में जानकारी दी जाएगी। कुपोषण को दूर करने के लिए चलाई जा रही योजनाओं का लाभ कितने बच्चों को मिल रहा है और कितने बच्चे कुपोषण से निजात पा चुके हैं। उसका भी पता लगाया जाएगा। उन्होंने कहा कि वजन त्यौहार का आयोजन कलस्टर पर किया जाएगा। प्रत्येक कलस्टर में वजन त्यौहार के लिए विभागीय अधिकारी, कर्मचारी, पर्यवेक्षक की ड्यूटी भी लगाई जाएगी। आयोजित होने वाले वजन त्यौहार में आयु व वजन के साथ-साथ बच्चों की ऊंचाई तथा बच्चे की निःशक्तता संबंधी जानकारी भी संकलित की जाएगी। वजन त्यौहार के अवसर पर प्रत्येक आंगनवाड़ी केन्द्र हेतु ग्राम स्तरीय, वार्ड स्तरीय दल का गठन किया गया है। समुदाय के समक्ष आंगनबाड़ी, ग्राम, नगरीय क्षेत्र के सभी सर्वेक्षित बच्चे का वजन लेकर पोषण स्तर का मापन किया जाएगा। इस हेतु ऑनलाइन सॉफ्टवेयर से वजन की जानकारी भरकर सॉफ्टवेयर के माध्यम से ही पोषण स्तर ज्ञात किया जाएगा। आंगनबाड़ी केंद्र में दर्ज बच्चों के अलावा वजन त्यौहार आयोजन के समय बाहर से आए बच्चे भी वजन लेने से वंचित न रहे यह भी सुनिश्चित किया जाएगा। कुपोषण विषय पर जन जागरूकता में वृद्धि लाने के लिए विशेष कार्य किए जाऐंगे। राज्य के प्रत्येक केन्द्र, ग्राम पंचायत, विकासखंड में पृथक-पृथक कुपोषण की वर्तमान स्थिति की जानकारी तैयार करते हुए कुपोषण कम करने की कार्य योजना तैयार की गयी है।

                More articles

                - Advertisement -

                    Latest article