Saturday, July 27, 2024

    केंद्रीय मंत्री पीयूष गोयल ने कहा गुणवत्ता आने वाले समय में इंडिया को परिभाषित करेगी

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    केंद्रीय मंत्री पियूष गोयल ने कहा गुणवत्ता आने वाले समय में ब्रांड इंडिया को परिभाषित करेगी
    नई दिल्ली:- 07अक्टूबर। केंद्रीय वाणिज्य और उद्योग, उपभोक्ता कार्य, खाद्य और सार्वजनिक वितरण तथा कपड़ा मंत्री पीयूष गोयल ने भारतीय गुणवत्ता परिषद (क्यूसीआई) से देश में सभी विभिन्न गुणवत्ता और मानक संगठनों को आपस में मिलाने का प्रयास करने को कहा जिससे वे भारत में एक विश्वस्तरीय गुणवत्ता प्रणाली के निर्माण की दिशा में मिलकर काम कर सकते हैं और गुणवत्ता को एक राष्ट्रीय मिशन बना सकते हैं। वह आज नई दिल्ली में क्यूसीआई के रजत जयंती समारोह में सभा को संबोधित कर रहे थे। ‘गुणवता से आत्मनिर्भरता’ के आदर्श वाक्य के साथ, इस कार्यक्रम ने क्यूसीआई द्वारा सेवाओं, उत्पादों और जीवन की गुणवत्ता प्रदान करने के प्रयासों की सराहना की।

    श्री गोयल ने कहा, विभिन्न गुणवत्ता और मानक संगठनों को आपस में मिलाने से हमें गुणवत्ता मानकों के इस्तेमाल को बढ़ाने में भी मदद मिलेगी। हमें देश के प्रत्येक नागरिक और प्रत्येक व्यवसाय के लिए राष्ट्रीय गुणवत्ता मिशन को आगे बढ़ाने में मदद मिलेगी। इससे हम देश में कारोबारी माहौल, निवेश का माहौल बनाने में सक्षम होंगे और पूरी ताकत से 2047 तक भारत को एक विकसित राष्ट्र बनने में मदद मिलेगी। उन्होंने क्यूसीआई से भारत को अंतरराष्ट्रीय गुणवत्ता मानकों के साथ तालमेल कायम करने में मदद करने का भी आग्रह किया।

    कार्यक्रम में उपस्थित अन्य गणमान्य व्यक्तियों में जी20 में भारत के शेरपा अमिताभ कांत, उद्योग और आंतरिक व्यापार संवर्धन विभाग (डीपीआईआईटी) के सचिव अनुराग जैन, डीपीआईआईटी के अपर सचिव अनिल अग्रवाल, क्यूसीआई और क्षमता निर्माण आयोग के अध्यक्ष आदिल जैनुलभाई और क्यूसीआई के महासचिव डॉ. रवि पी. सिंह शामिल थे।

    श्री गोयल ने जोर देकर कहा कि गुणवत्ता आने वाले समय में ब्रांड इंडिया को परिभाषित करेगी। उन्होंने देखा कि गुणवत्ता पर कभी भी लागत पर नहीं आती है, बल्कि लागत बचाई जाती है और उत्पादकता में सुधार होता है। उन्होंने राष्ट्र के नागरिकों से आग्रह किया कि वे जो कुछ भी करते हैं उसे बेहतर, अधिक कुशल, अधिक किफायती, अधिक उपयोगी और अधिक मापन-योग्य तरीके से करने के लिए दृढ़ संकल्प को आत्मसात करें। श्री गोयल ने कहा, अगर 2047 तक विकसित देश बनना है तो गुणवत्ता की संस्कृति को राष्ट्र में शामिल करना होगा। गुणवत्ता का यह विचार वास्तव में इस देश को किसी भी चीज की तुलना में तेजी से बदल सकता है।

    श्री पीयूष गोयल ने प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी द्वारा भारत के 75वें स्वतंत्रता दिवस पर व्यक्त किए गए पंच प्रण के बारे में बताया कि प्रधानमंत्री श्री मोदी चाहते थे कि 2047 तक भारत को एक विकसित राष्ट्र बनाने की योजना बनाने की हमारी महत्वाकांक्षाओं को पूरा करने के क्रम में भारत अपनी मानसिकता को बदले, उपनिवेशवाद के ऐतिहासिक बोझ को दूर करे, अधिक आत्मविश्वासी, अधिक आत्मनिर्भर और साहसी बने।
    श्री गोयल ने कहा कि प्रधानमंत्री चाहते हैं कि भारत को अपने इतिहास,संस्कृति, विरासत और परंपराओं पर गर्व हो, जिसने भारत को एक समाज के रूप में प्रगति में मदद करने के लिए बहुत कुछ सिखाया है। उन्होंने कहा कि हमें एकता के सूत्र पर बहुत गर्व होना चाहिए, जो हमें महान विविधता के बीच एक सूत्र में बांधता है। उन्होंने कहा कि हम कर्तव्य भावना के साथ देश के नागरिकों और राष्ट्र के प्रति अपने कर्तव्यों का पालन करें। उन्होंने इस बात पर प्रकाश डाला कि गुणवत्ता को लेकर प्रतिबद्धता एक ऐसा गुण है, जो पंच प्रण में से हर एक को पार कर जाएगा, एक ऐसा गुण जो हमें सभी पांच प्रतिज्ञाओं को तेजी से और स्मार्ट तरीके से प्राप्त करने में मदद करेगा।

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